नईदिल्ली : इलाहाबाद हाई कोर्ट में पेशी के खिलाफ फिल्म आदिपुरुष के निर्माता बुधवार (12 जुलाई) को सुप्रीम कोर्ट पहुंचे. उनके वकील ने इलाहाबाद हाई कोर्ट के आदेश का मामला चीफ जस्टिस के सामने रखने की कोशिश की, लेकिन चीफ जस्टिस ने कहा कि वह सुनवाई का अनुरोध कल उनके सामने रखें. दरअसल, हाई कोर्ट ने फ़िल्म में धार्मिक चरित्रों को गलत तरीके से दिखाने के लिए निर्माता, निर्देशक और संवाद लेखक को 27 जुलाई को व्यक्तिगत रूप से पेश होने के लिए कहा है.
क्या है पूरा मामला
दरअसल, हाल ही में इलाहाबाद उच्च न्यायालय की लखनऊ पीठ ने फिल्म आदिपुरुष के निर्देशक ओम राउत, निर्माता भूषण कुमार, संवाद लेखक मनोज मुंतशिर उर्फ मनोज शुक्ला को तलब किया था और इन सभी को कोर्ट ने 27 जुलाई को अदालत के समक्ष पेश होने के लिए कहा. इसके साथ ही हाई कोर्ट ने केंद्र सरकार को फिल्म पर अपना विचार पेश करने के लिए एक समिति के गठन का निर्देश भी दिया.
इलाहाबाद हाई कोर्ट ने 27 जुलाई को पेश होने के दिए थे आदेश
इससे पहले फिल्म आदिपुरुष को लेकर इलाहाबाद हाई कोर्ट ने दाखिल जनहित याचिकाओं पर सुनवाई की थी. न्यायमूर्ति राजेश सिंह चौहान और न्यायमूर्ति श्री प्रकाश सिंह की अवकाशकालीन पीठ ने फिल्म पर प्रतिबंध लगाने का अनुरोध करने वाली दो अलग-अलग याचिकाओं पर सुनवाई की. ये याचिकाएं कुलदीप तिवारी और नवीन धवन की ओर से कोर्ट में दाखिल की गई है. इन याचिकाओं में धार्मिक भावनाएं आहत करने का आरोप लगाते हुए फिल्म को बैन करने की मांग की गई.
कोर्ट ने सुनवाई के दौरान कहा कि फिल्म को बनाते समय जनभावनाओं का ख्याल नहीं रखा गया है. जिसके बाद इलाहाबाद हाईकोर्ट ने निर्देशक ओम राउत, निर्माता भूषण कुमार, संवाद लेखक मनोज मुंतशिर को 27 जुलाई को उसके सामने पेश होने का आदेश दिया.