मुंबई :मुंबई पुलिस ने दिवंगत अभिनेता सुशांत सिंह राजपूत की पूर्व मैनेजर दिशा सालियान की मौत की जांच के लिए एक विशेष जांच टीम (एसआईटी) गठित की है. इस बाबत जानकारी एक अधिकारी ने दी.
महाराष्ट्र के उपमुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस ने नागपुर में कहा कि इस सिलसिले में पुलिस विभाग को निर्देश दिए गए हैं.
‘विधानसभा में उठी थी एसआईटी गठन की मांग’
राज्य के गृह विभाग का प्रभार भी संभाल रहे फडणवीस से जब पत्रकारों ने यह सवाल किया कि क्या सालियान मामले में एसआईटी गठित की गई है. उन्होंने कहा, ”पिछले साल राज्य विधानमंडल के शीतकालीन सत्र में, विधानसभा में (एसआईटी गठित करने की) मांग उठी थी. सरकार ने कहा था कि साक्ष्यों की पड़ताल की जाएगी और पुलिस विभाग को निर्देश दिए जाएंगे.”
‘डीसीपी करेंगे SIT जांच की निगरानी’
मुंबई में एक पुलिस अधिकारी ने कहा, ”मलवानी थाने के वरिष्ठ निरीक्षक चिमाजी अधव मामले की जांच करेंगे और पुलिस उपायुक्त अजय बंसल जांच की निगरानी करेंगे.”
मैनेजर के कथित सुसाइड के बाद मिला था सुशांत का शव
सालियान (28) ने आठ जून 2020 को एक इमारत से कूदकर कथित तौर पर आत्महत्या कर ली थी. इसके कुछ ही दिन बाद, सुशांत (34) का शव मुंबई के उपनगर बांद्रा में अपने फ्लैट में फंदे से लटका मिला था.
दिशा सालियान के पिता सतीश सालियान ने पुलिस को पत्र लिखकर कहा था कि उन्हें अपनी बेटी की मौत के मामले में किसी गड़बड़ी का संदेह नहीं है. उन्होंने मुंबई पुलिस की जांच पर भी पूरी तरह से संतोष जताया था.
एसआईटी के गठन पर प्रतिक्रिया देते हुए शिवसेना (यूबीटी) के नेता संजय राउत ने कहा कि पार्टी दबाव बनाने के इस तरह के हथकंडों के आगे नहीं झुकेगी.
बीजेपी की आलोचना करते हुए राउत ने कहा कि वे अमेरिकी या रूसी जासूसी एजेंसियों-क्रमश: सीआईए और केजीबी को जांच सौंप सकते हैं.
‘संजय राउत का बीजेपी पर निशाना’
राउत ने आरोप लगाया कि केंद्र और राज्य सरकार राजनीतिक विरोधियों को बदनाम करने की फैक्टरी है. मौजूदा शासन का समय विपक्षी नेताओं के खिलाफ एसआईटी गठित करने पर ही बीता है.
पूर्व सरकार पर BJP ने लगाए थे मामले को दबाने के आरोप
सालियान की मौत के बाद राजनीतिक आरोप-प्रत्यारोप देखने को मिले थे. उस वक्त विपक्ष में रही बीजेपी ने पूर्ववर्ती महा विकास आघाड़ी सरकार पर मामले को दबाने का आरोप लगाया था. कुछ नेताओं ने सालियान की हत्या किए जाने का आरोप लगाया था और मामले में शिवसेना (यूबीटी) के प्रमुख उद्धव ठाकरे के बेटे एवं विधायक आदित्य ठाकरे का नाम घसीटने की कोशिश की थी.
बीजेपी विधायक प्रवीण दरेकर ने पिछले हफ्ते कहा था कि कई नेता लंबे समय से मांग कर रहे हैं कि मामले में एसआईटी गठित की जाए.
एसआईटी गठन के आदेश की सूचना नहीं- उद्धव ठाकरे
यह पूछे जाने पर कि क्या सालियान की मौत की एसआईटी जांच का आदेश दिया गया है, इस पर उद्धव ने पत्रकारों से कहा कि उन्हें इस तरह के किसी आदेश के बारे में कोई आधिकारिक सूचना नहीं है.
शिवसेना (यूबीटी) नेता ने किसी का नाम लिए बगैर कहा, ”…यदि वे हमारे खिलाफ झूठे आरोप लगाते हैं, तो फिर हम सच को सामने लाएंगे.”
वहीं, शिवसेना (यूबीटी) नेता अंबादास दानवे ने पत्रकारों से कहा कि पिछले साल भी एसआईटी गठित करने की घोषणा की गई थी और पूर्व में भी सालियान की मौत की जांच की गई है.
‘जस्टिस लोया की मौत की एसआईटी जांच हो’
महाराष्ट्र विधान परिषद में विपक्ष के नेता अंबादास दानवे ने नागपुर में विधान भवन परिसर में संवाददाताओं से कहा, ”मैं मांग करता हूं कि विशेष सीबीआई (केंद्रीय अन्वेषण ब्यूरो) न्यायाधीश बी. एच. लोया की मौत की भी एसआईटी जांच कराई जाए. अगर आप दिशा सालियान की मौत की जांच करना चाहते हैं तो कर सकते हैं. राजनीति की जा रही है. सरकार को न्यायाधीश लोया की मौत की भी जांच करानी चाहिए.”