छत्तीसगढ़

IND vs SA: कप्तान रोहित ने सिराज-प्रसिद्ध और शार्दुल को दी चेतावनी, शुभमन-श्रेयस की बल्लेबाजी से भी नाखुश दिखे

नईदिल्ली : दक्षिण अफ्रीका के खिलाफ सेंचुरियन टेस्ट में टीम इंडिया को हार का सामना करना पड़ा। भारतीय गेंदबाजों का प्रदर्शन इस मैच में निराशाजनक रहा। जहां अफ्रीकी गेंदबाजों ने दोनों पारियों में कहर बरपाया और टीम इंडिया को पहली पारी में 245 रन और दूसरी पारी में 131 रन पर समेट दिया, वहीं भारतीय गेंदबाजों के खिलाफ दक्षिण अफ्रीका ने 408 रन का विशाल स्कोर बना दिया।

कप्तान रोहित शर्मा ने भारतीय गेंदबाजों पर निशाना साधा है। उन्होंने कहा कि जसप्रीत बुमराह ने शानदार गेंदबाजी की, लेकिन उन्हें दूसरे छोर से कोई मदद नहीं मिली। कप्तान ने कहा कि अफ्रीकी गेंदबाजों ने दिखाया कि इस ट्रैक पर कैसे गेंदबाजी करनी है और इस पिच पर 400 रन बनते ही नहीं थे। बुमराह ने चार विकेट लिए। वहीं, सिराज को दो विकेट मिले। शार्दुल ठाकुर, प्रसिद्ध कृष्णा और आर अश्विन को एक विकेट मिला। 

‘400 रन का विकेट नहीं था’

मैच के बाद प्रेस कॉन्फ्रेंस में रोहित ने कहा, ‘यह 400 रन का विकेट नहीं था और हमने काफी रन दिए। हमने मैदान के चारों तरफ रन दिए, लेकिन ऐसा होता है। कोई एक विशेष गेंदबाज (बुमराह) पर निर्भर नहीं रह सकता, अन्य तीन तेज गेंदबाजों को भी अपनी भूमिका निभाने की जरूरत थी। हम दक्षिण अफ्रीका की गेंदबाजी से सीख सकते हैं।’ हालांकि, रोहित ने स्वीकार किया कि प्रयास की कमी नहीं थी, लेकिन बुमराह अकेले दक्षिण अफ्रीका के बल्लेबाजों पर दबाव नहीं बना सकते थे।

रोहित ने की बुमराह की तारीफ

उन्होंने कहा, ‘बुमराह ने अच्छी गेंदबाजी की और हम सभी उनकी क्वालिटी जानते हैं। वह बस दूसरे छोर से थोड़ा समर्थन चाहते थे जो उन्हें नहीं मिला। ऐसा होता है। बाकी तीनों ने काफी कोशिश की, लेकिन उस तरह से नहीं हो पाया जैसा हम चाहते थे। लेकिन इस तरह के मैच आपको काफी कुछ सिखाते हैं कि आप गेंदबाजी इकाई के रूप में क्या करना चाहते हैं।’ युवा प्रसिद्ध ने अब तक 12 प्रथम श्रेणी मैच खेले हैं, लेकिन सुपरस्पोर्ट पार्क में वह उछाल हासिल नहीं कर सके और डेब्यू टेस्ट में 20 ओवर में 93 रन दे डाले और सिर्फ एक विकेट मिला। कप्तान रोहित ने स्वीकार किया कि प्रसिद्ध को चोट नहीं लगी है, लेकिन उन्होंने जोर देकर कहा कि टीम मैनेजमेंट को उन पर भरोसा है।

उन्होंने कहा, ‘बेशक, वह थोड़ा अनुभवहीन हैं। उनके पास इस स्तर पर खेलने के पर्याप्त क्षमताएं हैं। निश्चित तौर पर अगर मैं भारत में मौजूद गेंदबाजों को देखूं तो उनमें से कुछ चोटिल हैं, कुछ उपलब्ध नहीं हैं, इसलिए हमने परिस्थितियों के आधार पर उपलब्ध खिलाड़ियों को चुनने की कोशिश की। मैं पूरी तरह से सहमत हूं कि प्रसिद्ध ने लाल गेंद से ज्यादा क्रिकेट नहीं खेला है, लेकिन इस टीम में तीन और भी खिलाड़ी ऐसे हैं जिन्होंने ज्यादा टेस्ट क्रिकेट नहीं खेला है, लेकिन उन्होंने खुद को साबित किया है।

रोहित ने कहा- मुझे लगता है कि यह दिमाग में है। आप अपने दिमाग के साथ कैसा व्यवहार करते हैं और आप कैसे उससे खेलते हैं, यह अधिक महत्वपूर्ण है। अगर आपको लगता है कि मैंने ज्यादा टेस्ट या प्रथम श्रेणी क्रिकेट नहीं खेला है तो इससे मदद नहीं मिलेगी। जब आपको मौका मिलता है तो आपको आभारी होना चाहिए और टीम के लिए बेहतर करने पर ध्यान देना चाहिए। अपना पहला गेम खेलते हुए हम सभी नर्वस होते हैं और जाहिर तौर पर वह (प्रसिद्ध) भी नर्वस होगा। ऐसी चीजें होती रहती हैं। हम उनका समर्थन करेंगे।’

रोहित ने इंग्लैंड-ऑस्ट्रेलिया दौरे को याद किया

रोहित ने साथ ही यह भी कहा कि इसी टीम ने इंग्लैंड और ऑस्ट्रेलिया जाकर परफॉर्म किया है। कप्तान ने कहा- खिलाड़ियों को प्रेरित करने की कोई जरूरत नहीं है। वे सभी अंतरराष्ट्रीय क्रिकेटर हैं। यह प्रदर्शन सिर्फ एक है। यह मत भूलिए कि हमने ऑस्ट्रेलिया और इंग्लैंड में क्या किया। हमने अपनी बल्लेबाजी से ऑस्ट्रेलिया में जीत दर्ज की। हमने इंग्लैंड में बल्लेबाजी और गेंदबाजी से मैच ड्रॉ किया। ऐसा नहीं है कि हम नहीं जानते कि भारत के बाहर कैसे बल्लेबाजी करनी है। कभी-कभी विरोधी टीम आपसे बेहतर खेलती है। ऐसा नहीं है कि उन्होंने 110 ओवर बल्लेबाजी की और हम ऐसा भी नहीं कर सके। आप जाओ और पिछले चार या पांच विदेशी दौरों के स्कोरकार्ड की जांच करो जो हमने किए हैं।

रोहित ने केएल राहुल की तारीफ की

रोहित ने केएल राहुल का उदाहरण देते हुए कहा कि प्रत्येक बल्लेबाज की अपनी तकनीक अलग होती है और जब वे दक्षिण अफ्रीका जैसी चुनौतीपूर्ण सीरीज के लिए आते हैं तो यह जरूरी होता है कि उनके पास अनुकूलित रणनीति हो। उन्होंने कहा, ‘देखिए केएल राहुल ने पहली पारी में क्या किया। यह पिच पर रुकने का इरादा दिखाने के साथ-साथ परिस्थितियों का सम्मान करने का एक आदर्श उदाहरण है। उन्होंने 70 के स्ट्राइक-रेट से रन बनाए और उन्होंने अच्छी गेंदों को खुद से दूर रखा।’ उन्होंने किसी का नाम नहीं लिया, लेकिन श्रेयस अय्यर और शुभमन गिल ने जिस तरह से बल्लेबाजी की उससे रोहित खुश नहीं दिखे।

शुभमन-श्रेयस से नाखुश दिखे रोहित

उन्होंने कहा, ‘हम सिर्फ मैदान पर जाकर बल्ले को हवा में नहीं खेल सकते। ऐसा करने के लिए यह जगह सही नहीं है। आपको समझना होगा कि इरादे और अनुशासन दिखाने के बीच एक पतली रेखा है। प्रत्येक व्यक्ति अलग होता है और हम प्रत्येक व्यक्ति से बात करने की कोशिश करते हैं कि वे किस तरह खेलना चाहते हैं और परिस्थितियों को ध्यान में रखते हुए कि वे क्या कर सकते हैं। यह हर चीज, इरादे, थोड़े अनुशासन का मिश्रण है और आप इन परिस्थितियों में सिर्फ एक मानसिकता के साथ नहीं जा सकते।