नईदिल्ली : आगामी पेरिस ओलंपिक से पहले भारत में कुश्ती को लेकर काफी बवाल हुआ। पिछले दो वर्षों से कुश्ती के खिलाड़ियों के चयन और ट्रायल्स को लेकर काफी हाईवोल्टेज ड्रामा देखने को मिला। भारतीय कुश्ती महासंघ (WFI) का अध्यक्ष बदला गया। पूर्व अध्यक्ष बृजभूषण सिंह की जगह संजय सिंह अध्यक्ष बने। इसके बाद भी विवादों का दौर जारी रहा। इसके बाद ओलंपिक कोटा और चयन ट्रायल्स को लेकर भी काफी बवाल हुआ। पहले यह तय हुआ कि कोटा हासिल करने वाले पहलवानों का पेरिस जाना तय नहीं होगा। उन्हें ट्रायल से गुजरना होगा।
अब कुश्ती संघ ने फिर से नया फरमान जारी किया है। कुश्ती संघ के नए बयान के मुताबिक, जिस खिलाड़ी ने पेरिस ओलंपिक का कोटा हासिल किया है, वही खिलाड़ी पेरिस जाएगा। ऐसे में 2021 में हुए टोक्यो ओलंपिक में भारत को फ्री-स्टाइल (पुरुषों के 57 किग्रा) में रजत पदक दिलाने वाले रवि दहिया इस साल ओलंपिक में खेलते नहीं दिखेंगे। रवि दहिया आगामी ओलंपिक के लिए कोटा जीतने में नाकाम रहे थे। टोक्यो ओलंपिक में कांस्य जीतने वाले बजरंग पूनिया पर पहले ही बैन लग चुका है।
विनेश को बदलना होगा भारवर्ग
डब्ल्यूएफआई के फैसले ने रवि दहिया के अलावा महिलाओं में विश्व चैंपियनशिप की कांस्य विजेता सरिता मोर (57 किग्रा) के लिए पेरिस ओलंपिक के दरवाजे बंद कर दिए हैं। रवि और सरिता ट्रायल की तैयारी कर रहे थे। इसका मतलब यह भी है कि विनेश फोगाट को अब महिलाओं की 50 किग्रा स्पर्धा में ही भाग लेना होगा। अगर वह ट्रायल में अंतिम को हरा देती तो उनके पास 53 किग्रा में भी प्रतिस्पर्धा करने का मौका होता।
भारतीय कुश्ती संघ के अध्यक्ष संजय सिंह ने कहा- चयन समिति के सभी सदस्यों के साथ मीटिंग हुई और यह निर्णय लिया गया कि हमने जिस नियम का पालन किया वह यह था कि जिसे भी कोटा मिलेगा वह पेरिस ओलंपिक के लिए जाएगा। वहीं, 2012 लंदन ओलंपिक में पदक जीतने वाले पहलवान योगेश्वर दत्त का भी बयान सामने आया है। उन्होंने कहा- डब्ल्यूएफआई अध्यक्ष संजय सिंह और अन्य सदस्यों की मौजूदगी में ट्रायल कमेटी की बैठक हुई। यह तय हुआ कि जिनके पास कोटा होगा वही पेरिस ओलिंपिक में जाएंगे।
पहलवानों के फिटनेस की परीक्षा होगी
भारतीय कुश्ती महासंघ (डब्ल्यूएफआई) ने मंगलवार को सभी छह ओलंपिक कोटा विजेताओं को चयन ट्रायल से छूट देने का फैसला जरूर किया है, लेकिन उनके फॉर्म और फिटनेस का आकलन आगामी रैंकिंग सीरीज टूर्नामेंट और उसके बाद हंगरी में प्रशिक्षण शिविर में किया जाएगा। डब्ल्यूएफआई ने कहा कि ट्रायल नहीं कराने का फैसला अजीबोगरीब परिस्थितियों में लिया गया है और इसे भविष्य में मिसाल के तौर पर इस्तेमाल नहीं किया जाना चाहिए।
फिटनेस में कमी पाई गई तो पहलवान को किया जाएगा रिप्लेस
डब्ल्यूएफआई ने यह भी स्पष्ट किया कि यदि किसी पहलवान की फिटनेस में कमी पाई जाती है, तो महासंघ उस पहलवान को बदलने की कोशिश करेगा। पहलवानों का नाम ओलंपिक के लिए भेजने की अंतिम तारीख आठ जुलाई है। किसी पहलवान की फिटनेस में कमी पाए जाने पर ट्रायल के जरिये उसे रिप्लेस करने पर विचार करेगा। भारत को पेरिस खेलों के लिए छह कोटा मिल गए हैं। इनमें अमन सहरावत (57 किग्रा) देश से मैदान में एकमात्र पुरुष पहलवान होंगे। इसके अलावा महिलाओं में विनेश फोगट (50 किग्रा), अंतिम पंघाल (53 किग्रा), अंशू मलिक (57 किग्रा), निशा दहिया (68 किग्रा) और रीतिका हुडा (76 किग्रा) ने ओलंपिक के लिए क्वालिफाई किया है।
पहलवानों के अनुरोध पर माने कुश्ती संघ के अध्यक्ष
पहलवानों ने डब्ल्यूएफआई से ट्रायल न कराने का अनुरोध किया था। उनका तर्क था कि इससे किसी पहलवान को चोट लग सकती हैं और अध्यक्ष संजय सिंह के नेतृत्व वाली चयन समिति ने याचिका स्वीकार कर ली। संजय सिंह ने बैठक के बाद कहा, ‘हमने इस मुद्दे पर चर्चा की और दोनों मुख्य कोचों का भी विचार था कि ट्रायल से चोटें लग सकती हैं और भारत की पदक संभावनाओं पर असर पड़ सकता है। इसलिए हमने ट्रायल नहीं कराने का फैसला किया है।’
ये है पहलवानों के आगे का कार्यक्रम
कोटा विजेता पहलवान छह से नौ जून तक बुडापेस्ट में यूडब्ल्यूडब्ल्यू रैंकिंग सीरीज में प्रतिस्पर्धा करेंगे और 10 से 21 जून तक टूर्नामेंट के समापन के बाद एक प्रशिक्षण शिविर में भी भाग लेंगे। कुश्ती संघ के अध्यक्ष ने कहा, ‘हमें यह सुनिश्चित करना होगा कि ओलंपिक में किसी भी पहलवान को कोई चोट न आए। इसलिए ट्रायल के बजाय भारतीय कोच रैंकिंग सीरीज इवेंट और बुडापेस्ट में अगले प्रशिक्षण शिविर में कोटा विजेताओं का आकलन करेंगे। अगर कोचों को लगता है कि कोई फिट नहीं है, तो हम उस विशेष श्रेणी में रिप्लेसमेंट की तलाश कर सकते हैं। हम आठ जुलाई से पहले उस भार वर्ग में ट्रायल्स आयोजित करेंगे।’
चयन समिति की बैठक में महिला मुख्य कोच वीरेंद्र दहिया और फ्रीस्टाइल मुख्य कोच जगमंदर सिंह भी शामिल हुए। बैठक में लंदन ओलंपिक के कांस्य पदक विजेता योगेश्वर दत्त, पूर्व पहलवान गीतिका जाखड़, डब्ल्यूएफआई के उपाध्यक्ष और ओलंपियन जय प्रकाश, डब्ल्यूएफआई के कोषाध्यक्ष संदीप देशवाल भी शामिल हुए। गीतिका वीडियो कॉल के जरिए बैठक में शामिल हुईं।