नईदिल्ली : ऋषभ पंत का खुमार ऑस्ट्रेलियाई क्रिकेट टीम पर ऐसा चढ़ा है कि बॉर्डर-गावस्कर ट्रॉफी से पूर्व ऑस्ट्रेलियाई मीडिया में ‘पंत’ का नाम छाया हुआ है. टी20 हो, वनडे या फिर टेस्ट, भारत का यह विकेटकीपर बल्लेबाज तेजतर्रार अंदाज में बैटिंग के लिए जाना जाता है. इसके अलावा पंत स्लेजिंग करने में भी पीछे नहीं हैं और कुछ दिन पहले ही पैट कमिंस का एक वीडियो वायरल हुआ था, जिसमें वो ऋषभ पंत की स्लेजिंग पर अपना रिएक्शन दे रहे थे. आखिर क्या कारण है कि ऑस्ट्रेलियाई टीम, ऋषभ पंत नाम से इतनी डरी हुई महसूस कर रही है.
साल 2021 में आई उस पारी को कंगारू टीम शायद कई दशकों तक नहीं भूल पाएगी, जब ऋषभ पंत गाबा मैदान में अकेले दम पर टीम इंडिया को जीत तक ले गए थे. दरअसल 2020-2021 के समय में हुई बॉर्डर-गावस्कर ट्रॉफी के तीन मैचों के बाद भारत-ऑस्ट्रेलिया एक-एक से बराबरी पर थे. आखिरी मुकाबला गाबा मैदान में खेला गया, जहां टीम इंडिया को चौथी पारी में 328 रनों का लक्ष्य मिला था.उस मैच में ऋषभ पंत और चेतेश्वर पुजारा की 61 रनों की पार्टनरशिप को देख ऐसा लगने लगा था जैसे भारत मुकाबले को ड्रॉ करवाने में सफल रहेगा. मगर पुजारा का विकेट गिरने के बाद कहीं ना कहीं कंगारू टीम सोच रही होगी कि भारत डिफेंसिव मोड में चला जाएगा. मगर डिफेंसिव रणनीति अपनाने के बजाय ऋषभ पंत ने ताबड़तोड़ अंदाज में ऑस्ट्रेलियाई गेंदबाजों को खूब कूटा. पंत ने उस मैच में नाबाद 89 रनों की पारी खेली, जिसका महत्व किसी दोहरे शतक से कम नहीं था. यह जीत इसलिए खास रही क्योंकि 2021 से 28 साल पहले तक ऑस्ट्रेलिया को गाबा मैदान पर कोई टेस्ट मैच में हरा नहीं पाया था, लेकिन भारत ने ऐसा करके इतिहास रच दिया था.
ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ ऋषभ पंत के आंकड़े शानदार
आंकड़े बताते हैं कि ऋषभ पंत को ऑस्ट्रेलियाई गेंदबाजों की धुनाई करने में मजा आता है. वो बॉर्डर-गावस्कर ट्रॉफी इतिहास में अब तक 7 मैचों की 12 पारियों में 624 रन बना चुके हैं. ‘पंत’ नाम इसलिए भी कंगारू टीम के लिए चिंता का विषय बना है क्योंकि बॉर्डर-गावस्कर ट्रॉफी में उनका औसत 62.40 का है. मौजूदा भारतीय क्रिकेटरों में पंत, ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ बॉर्डर-गावस्कर ट्रॉफी में सबसे बढ़िया औसत से रन बना रहे हैं.