बीजापुर: छत्तीसगढ़ के बीजापुर में हुए मुठभेड़ मामले में बड़ा खुलासा हुआ है। पुजारी कांकेर मुठभेड़ में 12 नक्सली नहीं बल्कि 18 नक्सली मारे गए हैं। दरभा बस्तर डिवीजन कमेटी के सचिव गंगा ने प्रेस नोट जारी कर इसका खुलासा किया है।
सचिव गंगा ने प्रेस नोट में बताया है कि मुठभेड़ में 50 लाख के इनामी स्टेट कमेटी मेंबर दामोदर राव मारा गया है। इसके साथ पीपीसीएम हुंगी, देवे, जोगा और नरसिंह राव भी मारे गए हैं। नक्सली मारे गए छह नक्सलियों के शव ले जाने में कामयाब रहे।
दो दिन पहले बीजापुर जिले के उसूर ब्लॉक के पुजारी कांकेर और मारुड़बाका के जंगल में सुरक्षाकर्मियों और नक्सलियों के बीच मुठभेड़ हुई थी। इस मुठभेड़ में फोर्स ने 18 नक्सलियों को ढेर किया था। बीजापुर और तेलंगाना की सीमा पर तीन जिलों के नक्सलियों के खिलाफ सुरक्षाबलों का बड़ा ऑपरेशन हो रहा है। सुरक्षाकर्मियों की एक संयुक्त टीम नक्सल विरोधी अभियान चला रही है।
मुठभेड़ के दिन नक्सली बड़ी बैठक ले रहे थे। इसमें छत्तीसगढ़, आंध्र प्रदेश और तेलंगाना कैडर के हार्ड कोर नक्सली बैठक में शामिल हुए थे। पुलिस ने सूचना के आधार पर ये मुठभेड़ की थी। घना जंगल होने की वजह से नक्सली भाग नहीं पाए थे। सभी जवान सुरक्षित थे।
2024 में हुआ था सबसे बड़ा हमला
16 अप्रैल 2024 को कांकेर में पुलिस नक्सली मुठभेड़ में 29 नक्सली मारे गये। यह देश की सबसे बड़ी नक्सली मुठभेड़ थी। जिससे नक्सली डर के भय से कांप उठे। वहीं 30 अप्रैल को 9 घंटे तक चली मुठभेड़ जवानों ने 10 नक्सलियों को मारा था। बूझमाड़ के टेकामेटा के जंगलों में डीआरजी और एसटीएफ के जवानों का सामना नक्सलियों से हुआ था। मारे गए नक्सलियों में 3 महिला और 7 पुरुष माओवादी शामिल थे। प्राथमिक तौर पर मुठभेड़ में मारे गये माओवादियों में से 2 की शिनाख्तगी डीवीसीएम जोगन्ना और डीवीसीएम विनय उर्फ अशोक के रूप में हुई थी। इस साल बस्तर रेंज में 141 माओवादी ढेर हो चुके हैं।
पुलिस महानिरीक्षक बस्तर रेंज सुन्दरराज पी ने बताया कि वर्ष 2024 में अब तक प्रतिबंधित एवं गैर कानूनी सीपीआई नक्सली संगठन के विरूद्ध चले अभियानों में बस्तर रेंज के तहत कुल 141 नक्सलियों के शव बरामद करने के साथ ही अत्याधुनिक हथियारों में दो एलएमजी, चार एके-47- 04, एक एसएलआर, तीन इंसास, चार 303 रायफल और चार 9एमएम पिस्टल सहित बड़ी संख्या में अन्य विस्फोटक सामग्री बरामद हुई हैं।