पटना I बिहार के नवादा जिले में एसपी की कार्रवाई से हड़कंप मचा हुआ है. एक मामले का समय से निपटारा न करने की वजह से आगबबूला हुए एसपी डॉ. गौरव मंगला ने नवादा नगर थाने के पांच पुलिसकर्मियों को हाजत थाना के हवालात में बंद कर दिया. इस घटना पर बिहार पुलिस एसोसिएशन ने कड़ी आपत्ति जताई है. पुलिस एसोसिएशन के प्रदेश अध्यक्ष मृत्युंजय कुमार सिंह ने नवादा एसपी डॉ. गौरव मंगला के खिलाफ एफआईआर दर्ज कराने की मांग की है.
बता दें, मामला 8 सितंबर की रात 10 बजे का बताया जा रहा है. पांचों पुलिसकर्मियों को तकरीबन दो घण्टे तक हाजत थाने के हवालात में रखा गया. इसे लेकर बिहार पुलिस एसोसिएशन में एसपी डॉ. गौरव मंगला के प्रति गहरी नाराजगी है. हाजत थाने में बंद किए जाने के बाबत जिन पुलिसकर्मियों का नाम सामने आ रहा है, उनमें सब इंस्पेक्टर शत्रुघ्न पासवान, रामपरेखा सिंह, एएसआई संतोष पासवान, संजय सिंह और रामेश्वर उरांव शामिल हैं. हालांकि पांचों दारोगा कैमरे के सामने कुछ भी बोलने से परहेज कर रहे हैं.
इधर, एसोसिएशन ने पूरे मामले पर कड़ी आपत्ति जताई है. संघ के प्रदेश अध्यक्ष मृत्युंजय कुमार सिंह ने नवादा एसपी डॉ. गौरव मंगला के खिलाफ प्राथमिकी दर्ज कराने की मांग की है. उन्होंने सरकार और पुलिस मुख्यालय से मांग करते हुए कहा कि घटना की न्यायिक जांच कराई जाए. यह पूरे बिहार में पुलिस इतिहास में पहली घटना होगी, जिससे पुलिस की छवि धूमिल हुई है. उन्होंने यह भी आरोप लगाया कि एसपी उन पीड़ित पुलिसकर्मियों पर मामले को दबाने का दबाव बना रहे हैं.
कर्मचारियों से अच्छे से पेश आएं अधिकारी
पुलिसकर्मियों को लॉकअप में बंद करने का सीसीटीवी फुटेज भी सामने आया है, जिसमें दिखाई दे रहा है कि चार पुलिसकर्मी वर्दी पहने खड़े हुए हैं तो वहीं एक पुलिसकर्मी सादी वर्दी में है. इसी सीसीटीवी फुटेज का वीडियो वायरल होने का बाद एसपी डॉ. गौरव मंगला बिहार पुलिस एसोसिएशन के निशाने पर आ गए हैं. पुलिस एसोसिएशन का कहना है कि एसपी का ये रवैया बिल्कुल बर्दाश्त के बाहर है. इससे पुलिसकर्मियों में गलत संदेश जाएगा. साथ ही अधिकारियों के प्रति जो सम्मान रहता है, वह भी कम होता जाएगा. सभी अधिकारियों को अपने कर्मचारियों से अच्छे से पेश आना चाहिए, क्योंकि यही कर्मचारी हैं, जो अधिकारी के एक आदेश पर अपनी जान की बाजी तक लगा देते हैं.