बिलासपुर : छत्तीसगढ़ हाईकोर्ट में एडवोकेट से जज बने आंध्रप्रदेश हाईकोर्ट के चीफ जस्टिस प्रशांत मिश्रा अब सुप्रीम कोर्ट के जज बनेंगे। इसके लिए सुप्रीम कोर्ट के कॉलेजियम ने उनके नाम की अनुशंसा केंद्र सरकार से की है। जस्टिस मिश्रा छत्तीसगढ़ हाईकोर्ट के पहले ऐसे वकील हैं, जिन्हें सुप्रीम कोर्ट में जज बनाया जाएगा।
आंध्र प्रदेश हाईकोर्ट के चीफ जस्टिस रहे अरूप कुमार गोस्वामी को दो साल पहले जब छत्तीसगढ़ हाईकोर्ट का नया चीफ जस्टिस बनाया, तब यहां हाईकोर्ट में सीनियर जस्टिस प्रशांत मिश्रा कार्यवाहक चीफ जस्टिस की जिम्मेदारी संभाल रहे थे। उसी समय उन्हें चीफ जस्टिस अरूप कुमार गोस्वामी की जगह आंध्र प्रदेश हाईकोर्ट के चीफ जस्टिस नियुक्त किया गया था।
दो साल तक चीफ जस्टिस रहने के बाद अब उन्हें फिर से प्रमोशन देने की तैयारी है। इसके लिए सुप्रीम कोर्ट के कॉलेजियम ने मंजूरी दे दी है और उन्हें सुप्रीम कोर्ट के जस्टिस बनाने के लिए केंद्र सरकार से अनुशंसा की गई है।
एडवोकेट से बने AG फिर बने जज, चीफ जस्टिस के बाद अब सुप्रीम कोर्ट जज
जस्टिस प्रशांत मिश्रा का जन्म छत्तीसगढ़ के रायगढ़ जिले में हुआ है। उन्होंने बीएससी करने के बाद गुरु घासीदास यूनिवर्सिटी से एलएलबी की डिग्री ली। रायगढ़ जिला अदालत में प्रैक्टिस करने के साथ ही उन्होंने जबलपुर और बिलासपुर हाईकोर्ट में लंबे समय तक वकालत की है।
2005 में छत्तीसगढ़ हाईकोर्ट ने सीनियर वकील के तौर पर उनके नाम पर मुहर लगाई थी। वह 2 साल के लिए छत्तीसगढ़ स्टेट बार काउंसिल के चेयरमैन भी रह चुके हैं। 2007 में महाधिवक्ता नियुक्त होने के बाद 10 दिसंबर 2009 में उन्हें हाईकोर्ट का जज बना दिया गया। दो साल पहले ही उन्हें सीनियर जज से चीफ जस्टिस बनाया गया और अब उन्हें सुप्रीम कोर्ट के जज बनाने के लिए मंजूरी दे दी गई है।