रायपुर : छत्तीसगढ़ विधानसभा चुनाव में बस्तर संभाग की 12 और दुर्ग संभाग की 8 सीटों पर 7 नंवबर को मतदान होना है. पांच नवंबर को शाम पांच बजे चुनावी शोरगुल खत्म होने के बाद अब बस्तर के नक्सल प्रभावित क्षेत्रों में मतदान दलों को भेजने की तैयारी प्रशासन ने शुरू कर दी है. सुकमा जिले में 42 मतदान केंद्र ऐसे हैं जो पहुंच विहीन हैं और यहां वायु सेवा के MI-17 हेलीकॉप्टर की मदद से मतदान दलों को भेजा जा रहा है. इसके अलावा बीजापुर, दंतेवाड़ा और नारायणपुर जिले में भी ऐसे कई नक्सल प्रभावित क्षेत्र हैं. इन इलाकों में भी MI-17 हेलीकॉप्टर की मदद ली जा रही है.
सुकमा जिला निर्वाचन अधिकारी एस.हरीश ने बताया कि जिले के जगरगुंडा इलाका में इस बार कई नए मतदान केंद्र बनाए गए हैं, हालांकि यह इलाका पहुंच विहीन है. ऐसे में इस क्षेत्र के करीब 42 मतदान केंद्रों के लिए मतदान दल को हेलीकॉप्टर की मदद से रवाना किया गया है. सुकमा की पुलिस लाइन में बने हेलीपैड में सभी मतदान कर्मियों को पहुंचाया गया. सुरक्षा के घेरे में इन मतदान कर्मियों को हेलीकॉप्टर से रवाना किया गया है.
शांतिपूर्ण मतदान के लिए सुरक्षाकर्मियों की तैनाती
इन केंद्रों में चुनाव आयोग की तरफ से बड़ी संख्या में फोर्स को भी तैनात किया गया है. कोशिश यही की जा रही है कि 7 नवंबर को प्रथम चरण में होने वाले मतदान शांतिपूर्ण तरीके से संपन्न हों. निर्वाचन अधिकारी ने बताया कि नक्सल प्रभावित क्षेत्र को देखते हुए सुकमा जिले में मतदान का समय सुबह 7 से दोपहर 3 बजे तक रखा गया है. यहां कुल 233 मतदान केंद्र हैं और इनमें 200 के करीब मतदान केंद्र अति संवेदनशील क्षेत्र में मौजूद हैं. जहां पर चुनाव संपन्न कराना सुकमा प्रशासन के लिए काफी चुनौतीपूर्ण है. फिलहाल 42 मतदान केंद्रों के लिए मतदान दलों को हेलीकॉप्टर से रवाना कर दिया गया है.
हेलीकॉप्टर से मतदान दल हुए रवाना
बस्तर के आईजी सुंदरराज पी ने बताया कि इस बार चुनाव आयोग से अतिरिक्त फोर्स की मांग की गई थी और सभी बटालियन बस्तर पहुंच चुकी है. शनिवार शाम से ही बस्तर संभाग के अति नक्सल प्रभावित क्षेत्रों में बनाए गए मतदान केंद्रों तक मतदान दलों को भेजने का सिलसिला शुरू हो चुका है. लगातार अंदरूनी इलाक़ों में हेलीकॉप्टर की मदद से ही मतदान दलों को रवाना किया गया है. साथ ही ऐसे मतदान केंद्रों में पहले से ही बड़ी संख्या में जवानों की तैनाती की गई है.