छत्तीसगढ़

छत्तीसगढ़ : कब कटेगी मूंछ! चुनाव हारने के बाद अमरजीत भगत ने कैंची चलवाते हुए कहा- मैं अपने बयान पर कायम, बशर्ते…

रायपुर। छत्तीसगढ़ विधानसभा चुनाव में कांग्रेस को बड़ी हार मिली है. 2018 के विधानसभा चुनाव में कांग्रेस 90 सीटों में 68 सीटें जीतकर सत्ता में आई थी लेकिन इस बार 35 पर ही सिमट गई. भाजपा 54 में जीत हासिल कर प्रदेश में सरकार बनाने जा रही है. वहीं चुनाव जंग के बीच भूपेश सरकार में मंत्री रहे अमरजीत भगत ने एक बयान दिया था कि अगर कांग्रेस की सरकार नहीं बनेगी तो वह अपनी मूंछ मुंडवा लेंगे. बीजेपी के जीत के बाद भाजपा नेता लगातार उन्हें मूंछ मुड़वाने की बात याद दिला रहे हैं. इस बीच आज अमरजीत भगत ने मूंछ पर कैंची चलवाते हुए बयान दिया है. उन्होंने कहा कि अपनी मूंछ कटवाने वाले बयान पर कायम हूं. प्रधानमंत्री मोदी को पहले अपना वादा पूरा करना चाहिए.

अमरजीत भगत ने बाल और मूंछ कटवाते हुए कहा कि सरकार बनाने के लिए और कार्यकर्ताओं में ऊर्जा लाने के लिए इस तरह की बात होते रहती है. पूर्व मंत्री अमरजीत भगत अपनी मूंछ कटाने वाले बयान पर कायम हैं. उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री मोदी को पहले अपना वादा पूरा करना चाहिए. उन्होंने नोटबंदी के दौरान कहा था कि 50 दिन में अगर मेरा निर्णय गलत हो गया तो मुझे किसी भी चौराहे पर लटका देना. मैं अभी भी अपने बयान पर कायम हूं. इससे पहले की भाजपा के नेता इस पर कुछ कहें. सरकार नहीं बनने का दुख है. जनता के चूक कर दिया. यहां के कृषि की अर्थव्यवस्था जो यही से बढ़ रही वो अब पीछे जा रही है.

चुनाव के दौरान हर मंचों पर बीजेपी के नेता छत्तीसगढ़ महतारी की फोटो लगाते थे. छत्तीसगढ़ महतारी की फोटो पोस्टरों में फोटो नहीं दिख रहा वाले सवाल पर अमरजीत भगत ने कहा कि ये तो शुरुआत है आगे क्या क्या होता है देखिए. जिसका काम हो जाता है उसकी चर्चा नहीं ये लोग नहीं करते. पहले फोटो का उपयोग करते थे अब वो दिखाई नहीं दे रहा.

मुख्यमंत्री पद को लेकर हो रही लेटलतीफी पर अमरजीत भगत ने कहा कि उनके दल की बात है. मैं आदिवासी होने के नाते चाहता हूं किसी आदिवासी नेता को मुख्यमंत्री बनाया जाए. सरगुजा और बस्तर ने खूब समर्थन किया ये भी आदिवासियों का समर्थन करें.

बुलडोजर से हो रही कार्रवाई पर अमरजीत भगत ने कहा कि ये तो हर सरकार की प्राथमिकता और काम करने का शैली होता है. सरकार गठन से पहले लोगों के ठेले और आशियाने उजाड़े जा रहे हैं. एक डर पैदा करने की शुरुआत है जिन पर कार्रवाई हो रही उनको नोटिस देना चाहिए, उनका व्यवस्थापन होना चाहिए.