नईदिल्ली : नीट परीक्षा को लेकर सुप्रीम कोर्ट में याचिका दाखिल की गई है. इस याचिका में नीट रिजल्ट को रद्द घोषित कर दोबारा परीक्षा की मांग की गई है. साथ ही मांग की गई है कि परीक्षा में गड़बड़ी के आरोपों की SIT जांच की जाए और 4 जून 2024 को आए नतीजों के आधार पर होने वाली काउंसिलिंग रोका जाए. नीट परीक्षा को लेकर ये याचिका तेलंगाना के अब्दुल्ला मोहम्मद फैज ने दाखिल की है.
दरअसल, नीट 2024 की परीक्षा में 23 लाख 33 हजार शामिल हुए थे. लोकसभा चुनाव के नतीजों वाले दिन 4 जून को नीट परीक्षा रिजल्ट जारी किया गया है. इस बार की परीक्षा में 67 छात्रों ने पहला स्थान हासिल किया है. उन्हें 720 में से पूरे 720 नंबर मिले हैं. जो हरियाणा के झज्जर से ताल्लुक रखने वाले एक ही सेंटर के हैं. हालांकि, नीट का रिजल्ट 14 जून को घोषित होना था, लेकिन 10 दिन पहले ही नतीजे जारी कर दिए गए.
क्या है याचिका में मांग?
नीट परीक्षा का रिजल्ट सवालों के घेरे में आ गया और छात्रों ने नीट रिजल्ट को रद्द करने की मांग को लेकर सुप्रीम कोर्ट का रूख किया है. इस याचिका में SIT जांच की मांग और काउंसिलिंग रोकने की मांग की है. याचिका में कहा गया है कि नीट की परीक्षा दोबारा कराई जाए.
राहुल गांधी ने साधा मोदी सरकार पर निशाना
इससे पहले कांग्रेस नेता राहुल गांधी ने नीट परीक्षा को लेकर पीएम मोदी पर निशाना साधा था. उन्होंने कहा, ”नए कार्यकाल के लिए मोदी के शपथ लेने से पहले ही परीक्षा में कथित अनियमितताओं के कारण 24 लाख से अधिक छात्रों को नुकसान पहुंचा है. राहुल गांधी ने देश के छात्रों को आश्वासन दिया कि वह संसद में उनकी आवाज बनेंगे और उनके भविष्य से जुड़े मुद्दों को जोरदार तरीके से उठाएंगे.
चार सदस्यीय समिति का गठन
इससे पहले शनिवार को नीट-यूजी में अंक बढ़ाए जाने के आरोपों के बीच राष्ट्रीय परीक्षा एजेंसी (एनटीए) ने कहा कि शिक्षा मंत्रालय ने ग्रेस मार्क्स पाने वाले 1,500 से अधिक अभ्यर्थियों के परिणामों की समीक्षा के लिए चार सदस्यीय समिति गठित की है.