नईदिल्ली : रविचंद्रन अश्विन भारतीय क्रिकेट इतिहास के सबसे सफल गेंदबाजों में से एक हैं. इंटरनेशनल क्रिकेट में उनके नाम अभी 764 विकेट हैं और अपने चालाक दिमाग के लिए उन्हें ‘प्रोफेसर’ नाम से भी पहचाना जाता है. दरअसल साल 2014 में उन्होंने अपनी चतुराई का इस्तेमाल करके 2 विश्व विख्यात गेंदबाजों पर प्रतिबंध लगवाने में बहुत बड़ा रोल निभाया था. ये दो गेंदबाज कोई और नहीं बल्कि पाकिस्तान के सईद अजमल और वेस्टइंडीज के सुनील नरेन हैं. आइए जानते हैं कि आखिर क्या था यह पूरा विवाद?
यह बात है 2014 एशिया कप की, जिसमें 26 फरवरी के दिन भारत और बांग्लादेश की भिड़ंत हुई थी. इसी मैच में रविचंद्रन अश्विन ने पूरी बाजू की जर्सी पहन कर गेंदबाजी की और अपने स्पेल की पहली ही गेंद पर मोमिनुल हक को आउट करने में सफलता पाई थी. अश्विन ने अपने साधारण स्टाइल से गेंद फेंकी, फिर भी वो विकेट लेने में कामयाब रहे थे. भारतीय विकेटकीपर दिनेश कार्तिक के अलावा अन्य खिलाड़ी भी अश्विन के इस विकेट को देख सन्न रह गए थे.
खोल दिया बड़ा राज
पूरी बाजू की जर्सी पहन कर अश्विन ने अपने गेंदबाजी एक्शन में भी बदलाव कर लिया था. कुछ दिनों बाद जब एक प्रेस कॉन्फ्रेंस में उनसे इस संबंध में सवाल पूछा गया तो अश्विन ने कहा, “मैं देखना चाहता था कि पूरी बाजू की जर्सी पहन कर गेंदबाजी करने पर कैसा महसूस होता है. ऐसा करके आप अपनी कोहनी को अधिक मोड़ कर गेंदबाजी कर सकते हैं. इस तरह की जर्सी पहनकर आप फायदा ले सकते हैं. जब दूसरे गेंदबाज ऐसा कर रहे हैं तो मैं क्यों ना फायदा लूं.”
ICC ने लिया बड़ा एक्शन
अश्विन ने सीधे तौर पर सईद अजमल और सुनील का नाम नहीं लिया था, लेकिन उनके द्वारा दिए गए बयान के बाद ICC ने सख्त रवैया अपना लिया था. अश्विन के बयान के कुछ समय बाद ही पाकिस्तान के सईद अजमल और वेस्टइंडीज के सुनील नरेन पर बैन लगा दिया था, जो उन दिनों पूरी बाजू की जर्सी पहन कर गेंदबाजी किया करते थे. ICC का नियम कहता है कि कोई बॉलर गेंद को फेंकते वक्त 15 डिग्री तक अपनी कोहनी को मोड़ सकता है.