छत्तीसगढ़

अतुल सुभाष केस : एक और चौंकाने वाला खुलासा, निकिता ने पीजी के दस्तावेजों में दिया था इनका नाम और मोबाइल नंबर

नईदिल्ली : बंगलूरू में आत्महत्या करने वाले सॉफ्टवेयर इंजीनियर अतुल सुभाष केस में नया खुलासा हुआ है। निकिता सिंघानिया ने गुरुग्राम के सेक्टर-57 स्थित ब्लॉस्म स्टेज पीजी में अपना आधार कार्ड दिया था। इसके अलावा, पुलिस वेरिफिकेशन के लिए दिए गए दस्तावेज के कॉलम में उसने अपना मोबाइल नंबर और अपनी मां का नाम एवं फोन नंबर लिखा था। इस बीच, गुरुग्राम पुलिस पर भी सवाल उठे हैं। आरोप है कि निकिता के वेरिफिकेशन में पुलिस की ओर देरी की गई। पीजी के केयर टेकर ने पुलिस पर यह आरोप जड़ा है। मीडिया रिपोर्ट के अनुसार, केयर टेकर निकिता की आईडी लेकर वेरिफिकेशन के लिए सेक्टर-56 थाने पहुंचा था। लेकिन पुलिस ने कोई कार्रवाई नहीं की। फिर अतुल आत्महत्या का मामला खुला तो पुलिस पीजी पहुंची।

जानकारी सामने आई है कि निकिता ने पीजी में तीन माह के लिए रूम शेयरिंग में लिया था। इसकी एवज में उसने पांच हजार रुपये एडवांस दिए थे। निकिता ने वेरिफेशन फार्म में अपना आधार कार्ड दिया था। इसके साथ ही वह नजदीक की हांगकांग मार्केट से सामान भी खरीदकर लाई थी।

ऑनलाइन पांच हजार रुपये एडवांस देकर बुक किया था कमरा
आपको बता दें कि गुरुग्राम के सेक्टर-57 स्थित ब्लॉस्म स्टेज पीजी में निकिता सिंघानिया ने जिस कमरे में रहने के लिए बुक किया था, उसे पुलिस ने फिलहाल सील कर दिया है। निकिता ने बीते 14 नवंबर को यह कमरा ऑनलाइन पांच हजार रुपये एडवांस देकर बुक किया था। इसमें रहने के लिए वह आठ को अपना सामान लेकर पहुंची थी। पीजी संचालकों के अनुसार, रात भर यहां रुकने के बाद नौ दिसंबर की सुबह वह चली गई। इस कमरे में रहने वाली निकिता की रूममेट भी फिलहाल अपने घर गई हुई है।

पुलिस ने निकिता के कमरे पर ताला लगवाया
पीजी संचालकों की माने तो निकिता उनके यहां सिर्फ एक रात ही रुकी थी। 9 दिसंबर को वह बाकी सामान लाने की बात करके गई थी। उसके बाद मीडिया के माध्यम से ही उन्हें निकिता की गिरफ्तारी का पता चला। पुलिस की जांच टीम भी एक बार उनके पीजी पर आई थी। उसके बाद निकिता के कमरे पर ताला लगवाकर टीम चली गई। 

अकेले ही कमरा देखने के लिए आई थी निकिता
साथ ही पीजी संचालकों को हिदायत दी कि कोई भी व्यक्ति इस कमरे के अंदर न जाए। डबल शेयरिंग वाले पीजी के इस कमरे में रहने वाली दूसरी लड़की अपने घर गई हुई है। 40 कमरों वाले इस पीजी के केयरटेकर गुड्डू ने बताया कि निकिता अकेले ही कमरा देखने के लिए आई थी। वहीं, सामान रखने के लिए भी निकिता अकेले ही आई थी।

सामान के लिए पीजी प्रबंधन ने पुलिस को भेजी मेल 
पीजी के केयर टेकर गुड्डू ने बताया कि प्रबंधन की ओर से मामले की जांच कर रही पुलिस टीमों को एक मेल भेजकर कमरे में रखे निकिता सिंघानिया के सामान को उठवाने की बात कही है। पुलिस द्वारा कमरा सील किए जाने के कारण उस कमरे में रहने वाली दूसरी लड़की का सामान भी बंद है। फिलहाल वह लड़की अपने घर गई

आठ दिसंबर को आई थी कमरे में
निकिता सिंघानिया ने सेक्टर-57 स्थित ब्लॉस्म स्टेज पीजी में रहने के लिए बीते 14 नवंबर को कमरा बुक कराया था। इस दौरान पीजी के नियमों के अनुसार ऑनलाइन माध्यम से पांच हजार रुपये एडवांस के तौर पर दिए थे। उसके बाद वह सामान लेकर आठ दिसंबर को खुद पीजी पहुंची थी और बाकी का भुगतान किया था।

दस्तावेज में दिया मां का नाम व मोबाइल नंबर
निकिता सिंघानिया ने सेक्टर-57 स्थित ब्लॉस्म स्टेज पीजी में अपना आधार कार्ड दिया था। कमरे के लिए कराए गए एग्रीमेंट और पुलिस वेरिफिकेशन के लिए दिए गए दस्तावेज के कॉलम में उसने अपना मोबाइल नंबर और अपनी मां निशा सिंघानिया का नाम व मोबाइल नंबर दिया था। निकिता ने यहां अपने पति अतुल सुभाष के नाम या उसके मोबाइल नंबर को कोई जिक्र नहीं किया। पुलिस वेरिफिकेशन के लिए तैयार किए गए दस्तावेज में दूसरे मोबाइल का कॉलम भी उसने खाली छोड़ रखा है।