छत्तीसगढ़

मणिपुर में नीतीश की पार्टी को बड़ा झटका, JDU के 7 में से 5 विधायक BJP में शामिल

नईदिल्ली I मणिपुर में बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार की जनता दल (यूनाइटेड) के सात में से पांच विधायक शुक्रवार को सत्तारूढ़ भाजपा में शामिल हो गए हैं. मणिपुर विधानसभा सचिव के मेघजीत सिंह के हस्ताक्षर वाले बयान में कहा गया है कि अध्यक्ष ने जदयू के पांच विधायकों के भाजपा में विलय को स्वीकार कर लिया है. चूंकि पक्ष बदलने वाले विधायकों की संख्या कुल के दो तिहाई से अधिक है, इसलिए उनके दलबदल को वैध माना जाएगा.

इस साल मार्च में हुए विधानसभा चुनाव में जदयू ने 38 सीटों में से छह पर जीत हासिल की थी. भाजपा में शामिल होने वाले विधायक जॉयकिशन, एन सनाटे, मोहम्मद अचब उद्दीन, पूर्व डीजीपी एल एम खौटे और थंगजाम अरुणकुमार शामिल हैं. खौटे और अरुण कुमार ने पहले भाजपा के टिकट पर विधानसभा चुनाव लड़ने की मांग की थी, लेकिन पार्टी द्वारा ठुकराए जाने के बाद जदयू में शामिल हो गए थे.

सालों बाद जदयू ने जीती थी 7 सीटें

हालांकि जद (यू) ने 2022 के विधानसभा चुनावों में 22 साल के अंतराल के बाद मणिपुर में विधानसभा सीटें जीती थीं. 2000 के विधानसभा चुनावों में पार्टी ने राज्य में केवल एक सीट जीती थी, लेकिन मणिपुर में लगातार हुए चुनावों में यह एक भी सीट जीतने में नाकाम रही. 2017 के विधानसभा चुनावों में, जद (यू) ने मणिपुर में चुनाव नहीं लड़ा था. ख़ास बात यह है कि विधायकों के पार्टी छोड़ने का फैसला, उन ख़बरों के बाद सामने आया है जिसमें जेडीयू के राज्य में बीजेपी सरकार से अलग होने की जानकारी सामने आई थी. वहीं 3-4 सितंबर को पटना में जदयू विधायकों की मीटिंग है जहां समर्थन वापस लेने पर अंतिम फैसला लिया जाना था.

नीतीश ने बिहार में छोड़ा एनडीए का साथ

भाजपा और जद (यू) ने इस साल की शुरुआत में हुए राज्य चुनाव में सहयोगी के रूप में चुनाव नहीं लड़ा था. चुनाव परिणामों के बाद, जद (यू) के सात विधायकों ने सरकार को अपना समर्थन दिया था. भारत के चुनाव आयोग (ईसीआई) ने इस महीने की शुरुआत में मणिपुर में जद (यू) को एक राज्य पार्टी के रूप में मान्यता दी थी. इससे पहले अगस्त महीने में नीतीश कुमार ने एनडीए का साथ छोड़ दिया था और राजद और दलों के साथ महागठबंधन की सरकार बनाई थी.