बिलासपुर I बिलासपुर में इलेक्ट्रॉनिक दुकान संचालक और टीचर साइबर फ्रॉड के शिकार हो गए। ओला कंपनी का एजेंट बनकर ठग ने व्यापारी युवक से ई-स्कूटर बेचने के नाम पर करीब एक लाख रुपए वसूल लिया। वहीं, ऑनलाइन मोबाइल रिचार्ज कराने वाले टीचर कस्टमर केयर के नंबर में काल कर ठग के झांसे में आ गए और ऐप डाउनलोड कर 61 हजार रुपए ठगी के शिकार हो गए। मामला सरकंडा और पचपेड़ी थाना क्षेत्र का है।
सरकंडा के देवनंदन नगर निवासी वैभव कुमार देवांगन (36) वैभव इलेक्ट्रानिक नामक दुकान चलाते हैं। उन्होंने पुलिस से शिकायत करते हुए बताया कि, ओला कंपनी का ई-स्कूटर खरीदने के लिए ऑनलाइन बुक करवाया था। इस दौरान उनके पास एक अनजान नंबर से कॉल आया। कॉल करने वाले ने खुद को ओला कंपनी का एजेंट बताया और ई-स्कूटर के लिए कुछ प्रक्रियाएं बताई।
इसके बाद बुकिंग के नाम पर 20499 रुपए एक खाते में जमा करवाए। फिर सब्सिडी के नाम पर 35 हजार ले लिए। फिर एनओसी के नाम पर 26 हजार जमा कराया। इस तरह से उनसे 94999 रुपए जमा करा लिए। फिर भी ना उन्हें स्कूटर मिली और ना ही पैसे वापस मिले। बल्कि अलग-अलग बहाने से और पैसों की मांग की जाने लगी। उनकी शिकायत पर पुलिस ने धोखाधड़ी का केस दर्ज कर लिया है।
कस्टमर केयर में कॉल करने पर ऐप डाउनलोड कराकर टीचर से ठगी
पचपेड़ी क्षेत्र के भुरकुंडा में रहने वाले गुलाबचंद टंडन (46) शासकीय उच्चतर माध्यमिक विद्यालय में व्याख्याता हैं। उनकी पोस्टिंग सूरजपुर जिले के प्रेमनगर के ग्राम बकालो में है। वे छुट्टी पर अपने गृहग्राम आए हुए हैं। उन्होंने अपनी शिकायत में बताया कि, 28 दिसंबर को अपने मोबाइल को ऑनलाइन रिचार्ज कराया था। इसके बाद भी दूसरे दिन उनके मोबाइल में आउटगोइंग कॉल नहीं हो रहा था। तब उन्होंने मोबाइल कंपनी के कस्टमर केयर में कॉल किया।
इसके कुछ ही देर बाद उनके मोबाइल पर अनजान नंबर से कॉल आया। फोन करने वाले उन्हें फिर से रिचार्ज करने के लिए कहा और पहले रिचार्ज किए गए पैसों को वापस पाने के लिए उन्हें मोबाइल पर एक ऐप डाउनलोड कराया। ठग को कंपनी के कस्टमर केयर अधिकारी समझकर उसके झांसे में आकर उन्होंने ऐप डाउनलोड कर लिया। इसके बाद उनसे ओटीपी मांगी गई, जिसे देते ही उनके खाते से 61 हजार रुपए पार हो गए। उनकी शिकायत पर पुलिस ने धारा 420 के तहत केस दर्ज कर जांच शुरू कर दी है।