नईदिल्ली : कांग्रेस ने बैंक अकाउंट्स फ्रीज किए जाने के मामले में सुप्रीम कोर्ट का दरवाजा खटखटाया है. पार्टी की तरफ से गुरुवार (21) को बैंक अकाउंट्स फ्रीज करने के फैसले के खिलाफ सुप्रीम कोर्ट में याचिका दायर की गई है. आज एक प्रेस कॉन्फ्रेंस में कांग्रेस नेताओं ने कहा कि वे चुनाव प्रचार के लिए अपने अकाउंट्स से पैसे नहीं निकाल पा रहे हैं. इसके बाद ये कदम उठाया गया है. अकाउंट्स फ्रीज करने को लेकर कांग्रेस और केंद्र सरकार के बीच तनातनी भी देखने को मिल रही है.
दरअसल, पिछले महीने इनकम टैक्स ने कांग्रेस के बैंक अकाउंट्स को फ्रीज कर दिया था. इसे लेकर काफी विवाद मचा और पार्टी ने सरकार पर जानबूझकर कार्रवाई करने का आरोप लगा दिया. हालांकि, विभाग का कहना था कि 2018-19 के लिए इनकम टैक्स दाखिल करने में गड़बड़ियां देखने को मिली, जिसके बाद ये कदम उठाया गया है. इनकम टैक्स ने आरोप लगाया कि कांग्रेस पार्टी के ऑडिटर्स ने पैसे का दुरुपयोग किया. इसने पार्टी पर टैक्स से जुड़े अपराधों में भी शामिल होने का आरोप लगाया.
कांग्रेस नेताओं ने गुरुवार (21 मार्च) को प्रेस कॉन्फ्रेंस कर पार्टी के बैंक अकाउंट्स को फ्रीज किए जाने को लेकर सीधे तौर पर सरकार को निशाने पर लिया. कांग्रेस नेताओं ने आरोप लगाया कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के जरिए कांग्रेस को आर्थिक रूप से पंगु बनाने की कोशिश की जा रही है. पार्टी अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खरगे ने कहा कि लोकतंत्र के लिए चुनाव जरूरी है, साथ ही ये भी आवश्यक है कि सभी राजनीतिक दलों को एक समान मौका मिले.
खरगे ने कहा, “ऐसा नहीं होना चाहिए कि जो सत्ता में हैं, संसाधानों पर उनका एकाधिकार हो और देश की संस्थाओं पर उनका कंट्रोल हो जाए. सुप्रीम कोर्ट ने जिस इलेक्टोरल बॉन्ड को असंवैधानिक बताया है, उसके जरिए बीजेपी ने अपने खाते में हजारों रुपये भरे हैं.” कांग्रेस अध्यक्ष ने कहा, “कांग्रेस के बैंक अकाउंट्स से लेनदेन पर रोक लगा दी गई है, ताकि हम पैसों के अभाव में बराबरी के साथ चुनाव नहीं लड़ पाएं.”
कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी ने दावा किया कि देश में लोकतंत्र नहीं बचा है. उन्होंने कहा कि आज कहा जाता है कि भारत दुनिया का सबसे बड़ा लोकतंत्र है, लेकिन सच्चाई ये है कि देश में लोकतंत्र नहीं है. राहुल ने कहा कि कांग्रेस पार्टी के अकाउंट्स को नहीं बल्कि लोकतंत्र को फ्रीज कर दिया गया है. बैंक अकाउंट्स फ्रीज होने की वजह से हम अपने नेता, कार्यकर्ता और उम्मीदवारों की मदद नहीं कर पा रहे हैं.