छत्तीसगढ़

आदिपुरुष : मनोज मुंतशिर के लिखे संवाद पर रामानंद सागर के बेटे भी हैरान, बोले- मैं इसे देखना भी नहीं चाहता

नईदिल्ली : आदिपुरुष फिल्म पर इन दिनों जमकर बवाल चल रहा है। फिल्म में दिखाए गए संवादों को लेकर देशभर में विरोध प्रदर्शन चल रहा है। फिल्म ने शुरुआती दिनों में देशभर में भले ही बॉक्स ऑफिस पर धमाल मचाया हो, लेकिन अब इसकी कमाई में भारी गिरावट दर्ज की जा रही है। फिल्म पर बैन लगाने की भी मांग उठ रही है। रामायण पर आधारित इस फिल्म के डायरेक्टर ओम राउत हैं। मनोज मुंतशिर ने फिल्म के डायलॉग्स लिखे हैं, जिनपर बहुत आपत्ति जताई जा रही है। अब रामानंद सागर के बेटे प्रेम सागर ने भी मनोज मुंतशिर के लिखे डायलॉग्स पर आपत्ति जताई है।

आदिपुरुष फिल्म का देशभर में विरोध हो रहा है। फिल्म निर्माताओं पर हिंदू भावनाओं को ठेस पहुंचाने का आरोप लग रहा है। संत समाज भी खुलकर फिल्म के विरोध में आ गया है और बैन लगाने की मांग कर रहा है। इतना ही नहीं बीजेपी समेत तमाम राजनीतिक दलों के नेता भी फिल्म का विरोध कर रहे हैं और इस पर बैन लगाने की मांग कर रहे हैं। इसी बीच रामांनद सागर के बेटे प्रेम सागर ने कहा है कि मुझे समझ नहीं आता कि कैसे मनोज मुंतशिर ने फिल्म में ऐसे डायलॉग्स डाल दिए।

प्रेम सागर ने कहा, मैंने मनोज मुंतशिर का जो पहले का काम यूट्यूब वगैरह पर देखा है, उसमें वह बहुत बड़े ज्ञानी और हिंदू धर्म का प्रचार करते रहे हैं। और उनकी उम्र भी बेहद कम है, मुझे समझ नहीं आता कि उन्होंने आदिपुरुष में ऐसे डायलॉग्स का इस्तेमाल किया कैसे। उन्होंने आगे कहा, फैसला गलत हो गया। अगर यह आज की पीढ़ी के लिए है तो आप जनता के साथ ऐसा नहीं कर सकते हैं।

प्रेम सागर कहते हैं, आप उसे ब्रिज कैंडी या फिर मार्वल कॉमिक जैसा कुछ बोलिए, यह मत बोलिए कि वह वाल्मीकि की रामायण पर आधारित है। आप फंतासी बना दीजिए, पर जब आप रामायण बनाते हैं तो हिंदुस्तान के साथ कपट नहीं कर सकते हैं। लोग ऐसी चीजों को भक्ति से देखते हैं। इसमें कलम का गलत इस्तेमाल शामिल है, आप उस कलम से सैलाब नहीं पैदा कर सकते हैं।

उन्होंने यह भी कहा, मैंने फिल्म की क्लिप देखी है और सुनील लहरी के साथ बहुत बातचीत की थी, इसलिए कुछ समस्या है। मैं इसे देखना भी नहीं चाहता। रावण बहुत ज्ञानी था और आप उसकी सोने की लंका को काला दिखा रहे हैं और उसके पांच सिर ऊपर और पांच सिर नीचे है। लेकिन मुझे बहुत खुशी है कि उन्हें अपनी गलती का एहसास हो गया है।