छत्तीसगढ़

अगर उन्होंने दरवाजे बंद कर लिए हैं…, कश्मीर में भी तार-तार हुआ इंडिया, अब काहे का गठबंधन?

नईदिल्ली : विपक्षी दलों के इंडिया ब्लॉक को आखिरकार जम्मू और कश्मीर में भी झटका लग ही गया है। अभी तक एकतरफा नेशनल कांफ्रेंस ही रेड सिंग्नल दिखा रहा था और अब पीडीपी ने भी रेड कार्ड फेंक दिया है। केंद्र शासित प्रदेश की 5 सीटों पर इंडिया ब्लॉक की दोनों पार्टियों में सीटों पर कोई तालमेल नहीं होगी।

पीडीपी सुप्रीमो महबूबा मुफ्ती ने बुधवार को घोषणा कर दी है कि जम्मू-कश्मीर में उनकी पार्टी लोकसभा चुनावों में अपने उम्मीदवार उतारेगी। नेशनल कांफ्रेंस की ओर से काफी पहले से दोहराया जा रहा था कि वह कश्मीर की सभी तीन सीटों पर अपने प्रत्याशी उतारेगा, क्योंकि 2019 में वही जीती थी। लेकिन, अब महबूबा ने भी अपनी स्थिति साफ कर दी है।

उमर अब्दुल्ला ने दुखी कर दिया- महबूबा मुफ्ती
मुफ्ती का कहना है, ‘…लेकिन उमर अब्दुल्ला ने जिस तरह से कहा कि पीडीपी का कोई अस्तित्व नहीं है और कहीं नहीं है, इससे हमें दुख हुआ।
बीजेपी ने हमारी पार्टी को पूरी तरह से तोड़ दिया, लेकिन उमर के बयान ने हमारे कार्यकर्ताओं को निराश कर दिया। अब हमारे कार्यकर्ता मुझसे कह रहे हैं और बता रहे हैं कि हमें भी अपने उम्मीदवार उतारने चाहिए।

पूर्ववर्ती जम्मू और कश्मीर की पूर्व मुख्यमंत्री बोलीं, ‘उमर अब्दुल्ला ने पीडीपी के बारे में जो कहा उससे मैं निराश हूं।’ वो बोलीं, ‘सभी एजेंसियां हमारे कार्यकर्ताओं के पीछे पड़ी हैं, इसलिए मुझे महसूस हुआ कि उमर अब्दुल्ला के बयान से मेरे कार्यकर्ता अपमानित हुए हैं। ‘

पीडीपी अपने उम्मीदवार उतारेगी- मुफ्ती
उन्होंने इस बात की पुष्टि की है कि अब उनकी पार्टी अकेले चुनाव लड़ेगी। उन्होंने कहा, ‘आने वाले लोकसभा चुनावों में हम अपने उम्मीदवार उतारेंगे।’

यह उनकी मर्जी है- उमर अब्दुल्ला
मुफ्ती के बयान पर प्रतिक्रिया देते हुए नेशनल कांफ्रेंस के नेता उमर अब्दुल्ला ने कहा, ‘….अगर उन्होंने (महबूबा ने) सभी 5 सीटों पर उम्मीदवार देने की घोषणा की है, तो यह उनकी मर्जी है। हमने उनके फॉर्मूले के आधार पर कश्मीर की 3 सीटों पर उम्मीदवार दिए हैं….

‘अगर उन्होंने दरवाजे बंद कर दिए हैं…’
उमर का कहना है कि ‘अगर वह अपने उम्मीदवार उतार रही हैं तो शायद वो विधानसभा चुनावों में भी किसी तरह का गठबंधन नहीं चाहती हैं। हमारे दरवाजे खुले हैं; अब अगर उन्होंने दरवाजे बंद कर दिए हैं तो यह हमारी गलती नहीं है।’

कश्मीर में कांग्रेस क्या करेगी?
नेशनल कांफ्रेंस और पीपुल्स डेमोक्रैटिक पार्टी इंडिया ब्लॉक का हिस्सा हैं, जिसमें कश्मीर से बाहर कांग्रेस सबसे बड़ी सहयोगी है। जिस तरह से पीडीपी ने सभी सीटों पर उम्मीदवार देने की बात कही है और नेशनल कांफ्रेंस कश्मीर की तीनों सीटों पर कोई समझौता नहीं चाहता तो कांग्रेस के पास विकल्प सीमित रह गए हैं।

क्योंकि, दोनों ही दल कांग्रेस को शुरू से जम्मू की दोनों सीटें ऑफर कर रही थीं। अगर महबूबा जम्मू और उधमपुर में भी प्रत्याशी देती हैं तो यहां दोनों दल आमने-सामने होंगे। इसी तरह अगर कांग्रेस कश्मीर घाटी में प्रत्याशी उतारती है तो इंडिया ब्लॉक की तीनों ही पार्टियां आपस में गुत्थम-गुत्था करती नजर आएंगी।